〈Startup Funding in MP Goverment〉 ⇔ : मध्यप्रदेश के युवाओं को राज्य सरकार नया स्टार्टअप शुरू करने के लिए बहुत सहुलियतें दे रही है. ऐसे युवा जो नौकरी करने के बजाय स्वरोजगार करना चाहते है, जिनके पास यूनिक आईडिया है, वह खुदका बिजनेस शुरू कर सकते है. इसके लिए राज्य सरकार के द्वारा एक करोड़ रूपये तक विशेष प्रोत्साहन दिये जा रहे है. प्रदेश की startup policy में इसके लिए प्रावधान किए गए है. कटनी में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने स्टार्टअप कॉन्क्लेव 2022 को संबोधित करते हुए ये मुख्य बातें कहीं. उन्होंने कहा कि इनोवेटिव आइडिया होने पर बैंक से केपिटल फंड की भी व्यवस्था भी की गई है. साथ ही प्रदेश में स्टार्टअप्स को सहायता करने के लिए विशेषज्ञों का स्टार्टअप सेंटर भी बनाया गया है. मुख्यमंत्री चौहान ने युवाओं से प्रदेश में स्टार्टअप शुरू करने का आह्वान किया है, उन्होंने कहा कि वे नौकरी करने वाले नहीं, नौकरी देने वाले बनें. अपना खुद का काम-धंधा शुरू करें। सरकार उसमें पूरी सहायता देगी. स्टार्टअप लगाने में बेटियों को सरकार द्वारा 20 प्रतिशत अतिरिक्त सहायता दी जाएगी. मुख्यमंत्री ने युवाओं से कहा कि यदि दृढ़निश्चय कर लें तो उन्हें आगे बढ़ने से कोई नहीं रोक सकता. भारत के श्री सुंदर पिचई ने चमत्कार कर दिखाया है.मुख्यमंत्री ने कहा कि स्टार्टअप की सहूलियत के लिए प्रदेश में स्टार्टअप पोर्टल शुरू किया गया है, जो इनक्यूबेटर और निवेशकों के बीच सेतु का काम करेगा। स्टार्टअप को शासकीय टेंडर में भाग लेने के लिए पहले निर्धारित अनुभव और टर्न ओवर की शर्त थी, अब दोनों की छूट दे दी गई है. राज्य सरकार द्वारा स्टार्टअप्स को निवेश सहायता, आयोजन सहायता, उन्नयन सहायता के साथ ही लीज पर जगह लेने पर एक सीमा और निर्धारित समय के लिए किराए की सहायता भी दी जा रही है. इसी तरह सेबी और आरबीआई द्वारा मान्यता प्राप्त वित्तीय संस्थानों से फंड प्राप्त करने वाले स्टार्टअप्स को 15 प्रतिशत की दर से 15 लाख रूपये तक की सहायता दी जाएगी. भंडार क्रय नियमों में सरकारी खरीद में स्टार्टअप्स को प्रोत्साहन भी दिया जाएगा. मुख्यमंत्री ने कलेक्टर को निर्देश दिए कि वे सरकार द्वारा स्टार्टअप्स को दी जाने वाली सुविधाओं के संबंध में एक नोट बना कर बच्चों को भिजवाएँ. साथ ही हर जिले के कलेक्ट्रेट में एक टीम बनाई जाए जो स्टार्टअप का सहयोग एवं मार्गदर्शन करे. स्कूल और कॉलेज में स्टार्टअप के संबंध में जागरूकता कार्यक्रम भी शुरू किए जाएँ.
11 जनवरी 2022 को इन्वेस्टर समिट–
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि मध्यप्रदेश अब निवेश का बड़ा केंद्र बन रहा है. अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर मध्यप्रदेश में निवेश की संभावनाएँ तलाशी जा रही हैं. आगामी 8, 9 एवं 10 जनवरी को इंदौर में होने वाले प्रवासी भारतीय सम्मेलन में 80 देशों के प्रवासी भारतीय शामिल होंगे. साथ ही 11 और 12 जनवरी को इन्वेस्टर्स समिट में शामिल होने के लिए 52 देशों द्वारा स्वीकृति दे दी गई है. मध्यप्रदेश की धरती पर 5जी सेवाएँ शुरू हो गई हैं.